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== पूर्व युगों में उनकी सेवा == | == पूर्व युगों में उनकी सेवा == | ||
सौंदर्य, पूर्णता और प्रचुरता के पिछले युगों में, न्याय ने सर्वोच्च शासन किया। इससे पहले कि पृथ्वी पर कलह प्रकट होने लगे, पोरशिया आध्यात्मिक उत्थान से प्रकाश में विलीन हो गई। जब मानव जाति की न्याय की भावना विकृत हो गई, तब पोर्शिया द्वारा किए गए सभी कार्यों में असंतुलन पैदा हो गया। तो वह महान मौन चेतना के उच्च स्तर में स्वयं को समेट कर चलीं गयीं। ईश्वर के नियमों के अनुसार दिव्यगुरू कभी भी मानवजाति के कार्यों में स्वतः हस्तक्षेप नहीं करते जब तक मनुष्य दिव्य आदेश कर के उनका आह्वान करते | सौंदर्य, पूर्णता और प्रचुरता के पिछले युगों में, न्याय ने सर्वोच्च शासन किया। इससे पहले कि पृथ्वी पर कलह प्रकट होने लगे, पोरशिया आध्यात्मिक उत्थान से प्रकाश में विलीन हो गई। जब मानव जाति की न्याय की भावना विकृत हो गई, तब पोर्शिया द्वारा किए गए सभी कार्यों में असंतुलन पैदा हो गया। तो वह महान मौन चेतना के उच्च स्तर में स्वयं को समेट कर चलीं गयीं। ईश्वर के नियमों के अनुसार दिव्यगुरू कभी भी मानवजाति के कार्यों में स्वतः हस्तक्षेप नहीं करते जब तक मनुष्य दिव्य आदेश कर के उनका आह्वान करते हैं। | ||
इन युगों में, संत जर्मेन पृथ्वी पर अवतरित होते रहे परन्तु पोर्शिया प्रकाश के सप्तकों (Great Silence) में ही रहीं। १६८४ में [[Special:MyLanguage/Rakoczy Mansion|राकोजी मेंशन]] (Rakoczy Mansion) से अपने आध्यात्मिक उत्थान के बाद, संत जर्मेन ने भी अपनी समरूप जोड़ी पोर्शिया के तरह प्रकाश के सप्तक में प्रवेश किया। संत जर्मेन ने ''द मर्चेंट ऑफ वेनिस'' | इन युगों में, संत जर्मेन पृथ्वी पर अवतरित होते रहे परन्तु पोर्शिया प्रकाश के सप्तकों (Great Silence) में ही रहीं। १६८४ में [[Special:MyLanguage/Rakoczy Mansion|राकोजी मेंशन]] (Rakoczy Mansion) से अपने आध्यात्मिक उत्थान के बाद, संत जर्मेन ने भी अपनी समरूप जोड़ी पोर्शिया के तरह प्रकाश के सप्तक में प्रवेश किया। संत जर्मेन ने ''द मर्चेंट ऑफ वेनिस'' | ||
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